कोरोना की दूसरी लहर भारत के लिए काफी घातक साबित हुई है। वहीं देश में अब तीसरी लहर शुरू हो गई है, जिसकी चपेट में मुख्यमंत्री, मंत्री और पुलिसकर्मियों से लेकर डॉक्टर्स आ रहे हैं। इसी बीच छत्तीसगढ़ के शिक्षा मंत्री प्रेम साय सिंह टेकाम भी संक्रमित हो गए हैं। सोमवार रात उनकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई। उसके बाद उन्होंने खुद को घर में ही आइसोलेट कर लिया है। तीसरी लहर में अब तक दो मंत्री और 12 से ज्यादा विधायक संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं। वहीं सोमवार को प्रदेशभर में कोरोना से 10 लोगों की मौत हुई है। बिलासपुर जिला प्रशासन ने 5 मौतों की जानकारी दी, लेकिन स्टेट कमांड एंड कंट्रोल सेंटर के बुलेटिन में बिलासपुर में सिर्फ दो मौत की सूचना है।
वहीं कोरोना के बढ़ते मामलों के कारण धमतरी जिले में पहली से आठवीं तक के सभी स्कूल बंद करने के आदेश जारी किया गया है। 9वीं से 12वीं तक के स्कूल एक तिहाई बच्चों के साथ खोलने के आदेश दिए गए हैं। इधर, कवर्धा जिला कलेक्टर रमेश कुमार शर्मा की कोविड टेस्ट रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। वे अब होम आइसोलेशन में रहकर अपना इलाज कराएंगे। प्रदेशभर में 38 हजार 64 सैंपल लिए गए। इस दौरान 4 हजार 574 लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई।
24 घंटे के अंदर 10 लोगों की मौत
24 घंटे के अंदर 10 लोगों की मौत हुई, जिसमें 2-2 मरीज बिलासपुर और दुर्ग के थे। रायपुर, धमतरी, बलौदाबाजार, जांजगीर-चांपा, मुंगेली और कोरिया में भी एक-एक मरीज की जान गई। इसमें एक की मौत कोरोना की वजह से बताई गई। बाकी 9 लोग कोरोना के अलावा दूसरी गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे थे। रात में ही आई बिलासपुर प्रशासन की रिपोर्ट में 5 मरीजों की मौत की जानकारी दी गई। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है राज्य का दैनिक डाटा देने के लिए जानकारी शाम को ही ली जाती है। जिलों से जानकारी भेजे जाने के बाद हुई मौतें राज्य डाटा में शामिल नहीं हो पातीं। उन्हें अगले दिन के आंकड़ों में समायोजित किया जाता है।
ठीक होने वालों की संख्या में बढ़ोतरी
बता दें कि छत्तीसगढ़ में अब तक 13 हजार 664 लोगों की मौत कोरोना की वजह से जा चुकी है। आइसोलेशन की अवधि 14 दिन से घटाकर सात दिन करने का असर भी दिखने लगा है। सोमवार को दिन भर में 5 हजार 396 लोगों को स्वस्थ घोषित कर अस्पतालों और होम आइसोलेशन से छुट्टी दी गई। इनमें से सिर्फ 179 लोग अस्पतालों में थे। दुर्ग में सबसे ज्यादा 1862 मरीजों को छुट्टी दी गई। तीसरी लहर के दौरान एक दिन में डिस्चार्ज होने वालों की ये सबसे बड़ी संख्या है।