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साप्ताहिक समय-सीमा की बैठक संपन्न, राशन कार्डों का ई-केवाईसी और नवीनीकरण में लाएं तेजी

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महासमुंद। कलेक्टर विनय कुमार लंगेह ने आज कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में समय सीमा की बैठक ली। बैठक में उन्होंने सभी अधिकारी-कर्मचारियों को प्रत्येक सोमवार को मुख्यालय में बैठकर कार्य करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि सप्ताह के प्रथम दिन में सभी अधिकारी अपने मुख्यालय में बैठकर कार्य संपादित करें। किसी आवश्यक कार्य के लिए अनुमति लेकर ही मुख्यालय छोड़े। उन्होंने कहा कि जिला स्तरीय जन समस्या निवारण शिविर में प्राप्त आवेदनों का गुणवत्तापूर्ण समाधान करना सुनिश्चित करें। उन्होंने शिविर में सभी जिला स्तरीय अधिकारियों को अनिवार्य रूप से उपस्थित होने के निर्देश दिए हैं। बैठक में जिला पंचायत सीईओ एस. आलोक, अपर कलेक्टर रवि कुमार साहू, एसडीएम हरिशंकर पैकरा, डिप्टी कलेक्टर मनोज खांडे, आशीष कर्मा सहित जिला अधिकारी मौजूद थे।

          आयुष्मान कार्ड के लिए विशेष शिविर लगाएं

कलेक्टर लंगेह ने सभी जनपद सीईओ, सीएमओ एवं विकासखंड खाद्य अधिकारियों को शेष रह गए राशन कार्ड के नवीनीकरण एवं ईकेवाईसी हर हफ्ते लक्ष्य के अनुसार शीघ्र पूरा कराने के निर्देश दिए। साथ ही मृत, पलायन व्यक्तियों के नाम अति शीघ्र विलोपित करने को कहा। उन्होंने कहा कि इस कार्य को 31 अक्टूबर के पूर्व प्राथमिकता के साथ पूर्ण करें। इसी तरह विशेषकर बसना, सरायपाली और पिथौरा विकासखण्ड में इस प्रक्रिया में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं। कलेक्टर ने पीएम जनमन के तहत कमार परिवारों के सभी हितग्राहियों के राशन कार्ड, आयुष्मान कार्ड भी प्राथमिकता के साथ बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जिन लोगों का आधार कार्ड अपडेट नहीं है शिविर लगाकर उनका आधार कार्ड भी अपडेट करें। खण्ड चिकित्सा अधिकारियों को आयुष्मान कार्ड के लिए विशेष शिविर लगाने के निर्देश दिए हैं। बैठक में कलेक्टर ने अधिकारियों को स्कूल, आंगनवाड़ी और छात्रावासों का नियमित निरीक्षण करने के निर्देश दिए हैं। शासन के निर्देशानुसार जिन भी वाहनों को 15 वर्ष से अधिक हो गया है उनके स्क्रैपिंग के लिए ऑनलाईन एंट्री करने के निर्देश दिए गए हैं। परिवहन विभाग को इस संबंध में आवश्यक कार्रवाई करने कहा गया है। बैठक में जिला पंचायत सीईओ एस. आलोक द्वारा प्रधानमंत्री आवास योजना, स्वच्छता मिशन आदि की समीक्षा की गई।

कलेक्टर विनय कुमार लंगेह ने कहा कि शासन की लोकहितकारी योजनाओं के अंतर्गत शेष रह गए जनसामान्य को चिन्हांकित करते हुए उन्हें विभिन्न योजनाओं से लाभान्वित किया जाना है। जाति, निवास, आय प्रमाण पत्र, दिव्यांगजनों का प्रमाण पत्र, पेंशन, आयुष्मान कार्ड, मनरेगा जॉब कार्ड, महतारी वंदन योजना सहित विभिन्न योजनाओं से पात्र वंचित पात्र जनसामान्य को योजना का लाभ दिलाने के लिए कार्य करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अवैध रेत उत्खनन पर शिकायत प्राप्त होते ही तत्काल कार्रवाई करना सुनिश्चित करें खनिज विभाग स्वयं संज्ञान लेकर माइनिंग एक्ट के तहत कार्रवाई करें।

कलेक्टर लंगेह ने कहा कि आयुष्मान कार्ड शत-प्रतिशत बनाने के लिए डोर-टू-डोर अभियान चलाकर कार्य करें। ऐसे हितग्राही जिनका आयुष्मान कार्ड नहीं बन पाया है, उन्हें लक्षित करते हुए कार्य करने के निर्देश दिए। आयुष्मान कार्ड के लिए आधार अपडेशन के संबंध में भी जानकारी ली। उन्होंने विभिन्न विभागीय योजनाओं और कार्यक्रमों के बेहतर क्रियान्वयन की समीक्षा की। उन्होंने मुख्यमंत्री जनदर्शन, कलेक्टर जन चौपाल, जन शिकायत और अन्य प्राप्त पत्रों का समय सीमा के भीतर निराकरण के लिए संबंधित विभाग के अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। साथ ही पीएम स्कूल का प्रत्येक सप्ताह निरीक्षण करने एवं पीएम के तहत स्वीकृत स्कूलों का तेजी से निर्माण करने के निर्देश दिए।

राजनीतिक आंदोलनों से सम्बंधित प्रकरणों की वापसी के सम्बंध में मंत्रिपरिषद की उपसमिति की बैठक कल

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रायपुर। उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा की अध्यक्षता में कल 16 अक्टूबर सुबह 10 बजे से राजनीतिक आंदोलनों से सम्बंधित दर्ज प्रकरणों की वापसी के सम्बंध में मंत्रिपरिषद की उपसमिति की बैठक मंत्रालय महानदी भवन में होगी। 

                    
बैठक में मंत्रिपरिषद के उप समिति के सदस्य उपमुख्यमंत्री अरुण साव, कृषि मंत्री राम विचार नेताम एवं महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती लक्ष्मी राजवाड़े उपस्थित रहेंगे ।मंत्रिपरिषद उपसमिति की बैठक में विभिन्न जिलों से प्राप्त विशुद्ध रूप से राजनीतिक आंदोलनों से सम्बंधित दर्ज प्रकरणों की समीक्षा की जायेगी।

महासमुंद : रेत खदान का संचालन 16 अक्टूबर से प्रारम्भ, अवैध उत्खनन, परिवहन एवं भंडारण से कुल 35 लाख 40 हजार से अधिक की राजस्व वसूली

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महासमुंद। जिले में खनिज विभाग द्वारा निविदा के माध्यम से 08 रेत खदानों का आबंटन किया गया था। जिसमें बरबसपुर रेत घाट तथा बड़गांव रेत घाट का संचालन मानसून अवधि के पूर्व किया जा रहा था। पर्यावरण विभाग के गाईड लाईन के अनुसार मानसून अवधि के पश्चात् दिनांक 16 अक्टूबर से 04 अन्य रेत खदान क्रमशः लाफिनखुर्द, लामीसरार, मुडियाडीह, बल्दीडीह का संचालन किया जाएगा। ग्राम मुरकी में आबंटित रेत खदान पर्यावरण सम्मति हेतु प्रक्रिया धीन है। रेत भंडारण हेतु ग्राम बरबसपुर 04 भंडारण अनुज्ञप्ति एवं ग्राम बिरकोनी 05 भंडारण अनुज्ञप्ति स्वीकृत किया गया है। महासमुंद जिले में कुल 17 अस्थायी भंडारण अनुज्ञा स्वीकृत किया गया है।

खनिज अधिकारी सनत साहू ने बताया कि खनिज विभाग द्वारा खनिजों के अवैध उत्खनन परिवहन एवं भंडारण करने वालों पर लगातार कार्यवाही की जा रही है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में अवैध खनिज अवैध उत्खनन के कुल 07 प्रकरणों में कुल राशि 10 लाख 26 हजार 500 रुपए एवं अवैध परिवहन के कुल 85 प्रकरणों में कुल राशि 14 लाख 85 हजार 486 रुपए तथा अवैध भंडारण के कुल 14 प्रकरणों में 10 लाख 28 हजार 250 अर्थदण्ड राशि वसूल की गई है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में माह सितम्बर तक अवैध उत्खनन, परिवहन एवं भंडारण से कुल राशि 35 लाख 40 हजार 236 रुपए राजस्व की वसूली की गई है। ग्राम बिरकोनी में श्री दामोदर चंद्राकर स्वीकृत भंडारण अनुज्ञप्ति को छ०ग० खनिज नियम 2009 (परिवहन, उत्खनन एवं भंडारण) के तहत नियमों के उल्लंघन पर निरस्त किया गया।

रियल एस्टेट सेक्टर में पारदर्शिता बढ़ाने रेरा की महत्वपूर्ण बैठक

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रायपुर। छत्तीसगढ़ भू-संपदा विनियामक प्राधिकरण (रेरा) ने रियल एस्टेट प्रोजेक्ट्स में बैंक खातों की पारदर्शिता सुनिश्चित करने के उद्देश्य से अधिसूचित बैंक अधिकारियों एवं बिल्डर्स के संगठन (क्रेडाई) के सदस्यों के साथ आज स्थानीय न्यू सर्किट हाऊस में संयुक्त बैठक किया गया। बैठक में रेरा के अध्यक्ष संजय शुक्ला, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के कार्यपालक निदेशक महेन्द्र डोहरे, पंजाब नेशनल बैंक के जोनल मैनेजर और 28 राष्ट्रीयकृत और निजी बैंकों के अधिकारी, साथ ही क्रेडाई (रायपुर और बिलासपुर) के सदस्य शामिल हुए।

रेरा के अध्यक्ष संजय शुक्ला ने कहा कि बैठक का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि रियल एस्टेट परियोजनाओं के लिए बैंकों द्वारा खाता संचालन रेरा के नियमों के अनुसार हो। रेरा ने कई अवसरों पर पाया है कि कुछ बैंकों द्वारा खातों के संचालन में अनियमितताएं हो रही हैं, जिससे निवेशकों और बैंकों के हितों की सुरक्षा प्रभावित हो रही है। इसके लिए बैंकों को नियमों का कड़ाई से पालन करने पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि रेरा प्रावधानों के अनुसार, किसी भी प्रोजेक्ट के लिए तीन प्रकार के खाते आवश्यक हैं। कलेक्शन अकाउंट में जमा राशि का 70 प्रतिशत रेरा डेजिग्नेटेड खाते और 30 प्रतिशत राशि बिल्डर्स के प्रोजेक्ट से संबंधित खाते में अंतरित किया जाता है। उन्होंने कहा कि रेरा खाते में जमा 70 प्रतिशत राशि समय-समय पर बिल्डर द्वारा कार्य की प्रगति के आधार पर बिल्डर के खाते में अंतरित किया जाता है, जिससे बिल्डर आबंटितों से प्राप्त राशि का दुरुपयोग नहीं कर सकता है।

बैठक में बैंकों ने रेरा के साथ मिलकर प्रक्रिया को और प्रभावी बनाने तथा सॉफ्टवेयर में आवश्यक सुधार करने की सहमति दी। रेरा ने भविष्य में खातों की पारदर्शिता और अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाने का संकल्प लिया। इस संबंध में विस्तृत जानकारी रेरा की वेबसाइट rera.cgstate.gov.in पर प्राप्त कर किया जा सकता है।

नगरीय निकाय निर्वाचन हेतु 16 अक्टूबर को होगा मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन, अंतिम प्रकाशन 22 नवंबर को होगा

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रायपुर। राज्य में स्थानीय नगरीय निकाय के निर्वाचन हेतु 16 अक्टूबर को मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन किया जाएगा। छत्तीसगढ़ के राज्य निर्वाचन आयुक्त अजय सिंह ने राज्य के समस्त जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्देशित किया है कि आयोग द्वारा निर्वाचक नामावली तैयार किए जाने हेतु जारी कार्यक्रम के अनुसार सभी कार्यवाही सुनिश्चित करें। राज्य के 167 नगरीय निकायों में निर्वाचन होना है।

आयोग द्वारा सभी जिला निर्वाचन अधिकारियों को मतदाता सूची शुद्ध एवं निर्धारित समय-सीमा में पूर्ण करने तथा  01 जनवरी 2024 की स्थिति में 18 वर्ष की आयु पूर्ण करने वाले का नाम मतदाता सूची में जोड़ने के निर्देश दिए गए हैं। 

निर्वाचन आयुक्त अजय सिंह ने बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य में नगरीय निकाय चुनाव की तैयारियों ने जोर पकड़ लिया है। इस संदर्भ में एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में 16 अक्टूबर 2024 को मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन किया जाएगा। यह सूची नगरीय निकायों के चुनाव के लिए बनाई जा रही है, जिसमें सभी पात्र मतदाताओं के नाम शामिल होंगे।

प्रारंभिक प्रकाशन के बाद सुधार का अवसर प्रारंभिक मतदाता सूची के प्रकाशन के बाद, मतदाता अपने नाम की जांच कर सकेंगे। यदि किसी मतदाता का नाम सूची में नहीं है या उसमें किसी प्रकार की त्रुटि है, तो वे इसकी शिकायत कर सकते हैं। निर्वाचन आयोग ने इसके लिए एक विशेष प्रक्रिया निर्धारित की है, जिसके तहत मतदाता सुधार, नाम जुड़वाने या हटाने के लिए आवेदन कर सकेंगे।

आयोग द्वारा पूर्व में जारी कार्यक्रम के अनुसार निर्वाचक नामावली का प्रारंभिक प्रकाशन एवं दावे तथा आपत्तियां प्राप्त करना एवं मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों को निर्वाचक नामवली उपलब्ध कराना बुधवार 16 अक्टूबर 2024 तक, दावा/आपत्तियां प्राप्त करने की अंतिम तारीख व समय बुधवार 23 अक्टूबर 2024 को दोपहर 3 बजे तक, दावा/आपत्तियों का निपटारे की अंतिम तारीख मंगलवार 29 अक्टूबर 2024 तक, प्ररूप क-1 में रजिस्ट्रीकरण अधिकारी/सहायक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी को दावा प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि सोमवार 04 नवम्बर 2024 तक तथा प्ररूपः क-1 में प्राप्त दावा का निराक़रण करने की अंतिम तिथि शुक्रवार 08 नवम्बर 2024 तक निर्धारित की गई है।

इसी तरह दावे/आपत्तियों के निराकरण आदेश के विरूद्ध अपील करने की अंतिम तारीख निराकरण आदेश पारित होने के 05 दिवस के भीतर तथा परिवर्धन, संशोधन, विलोपन के प्रकरणों की प्रविष्टि सॉफ्टवेयर में करना बुधवार 13 नवम्बर 2024 तक, चेकलिस्ट का निर्वाचन रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा जांच करवाना तथा पी. डी.एफ. मुद्रण हेतु जिला कार्यालयं को सौंपना शनिवार 16 नवम्बर 2024 तक, अनुपूरक सूची का मुद्रण कराना और अनुपूरक सूची को मूल सूची के साथ संलग्र करना मंगलवार 19 नवम्बर 2024 तक निर्धारित किया गया है तथा निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकाशन शुक्रवार 22 नवम्बर 2024 को किया जाएगा।

 

बारनवापारा अभ्यारण्य में 21 से 23 अक्टूबर को बटरफ्लाई मीट का होगा आयोजन

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रायपुर। वन विभाग एवं बारनवापारा अभ्यारण्य के संयुक्त तत्वाधान में 21 से 23 अक्टूबर 2024 को अभ्यारण्य में बटरफ्लाई मीट का आयोजन किया जाएगा। जिसके माध्यम को प्रकृति प्रेमियों को तितलियों को करीब से जानने और पहचानने का मौका मिलेगा। साथ ही विषय विशेषज्ञों द्वारा तितलियों के पर्यावास एवं उनके महत्त्व के संबध में महत्वपूर्ण जानकारियां प्रतिभागियों के साथ साझा की जाएंगी। उक्त आयोजन की तीसरी कड़ी है। इसके पूर्व 2022 एवं 2023 में यह आयोजन किया गया था। विभाग द्वारा बटरफ्लाई मीट की तैयारी पूरी कर ली गई है।

आयोजन में भाग लेने एवं जानकारी प्राप्त करने के लिए क्यू आर कोड भी जनरेट किया गया है जिसके माध्यम से आसानी से पंजीयन कराया जा सकता है। मीट में प्रतिभागी स्टूडेंट के 15 सौ रूपये एवं अन्य व्यक्तियों के लिए 2 हजार रूपये पंजीयन शुल्क रखा गया है। इसके साथ ही भाग लेने के लिए 18 वर्ष से 60 वर्ष की आयु निर्धारित की गई है।

गौरतलब है कि बारनवापारा अभ्यारण्य में 150 प्रजाति के तितली एवं मोथ पायी जाती हैं। जिसमे से वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम 1972 की शेड्यूल वन की क्रिमसन रोज (पैचीलौप्टा हेक्टर) डनाइड इगली (हाइपो सिलिमस मिसीपस) शेड्यूल दो की सिपोरा निरिसा,होगारा एनेक्स, यूक्रीशॉप्स सीनेजस, जेनेलिया लेपीडिया रपेला वरुणा,लैंपिडर्स  बोइहन, तजुना शिप्स आदि  पाई जाती है। शेड्यूल छह के भी बहुत से प्रजातियां पाई जाती हैं। विगत तीन वर्षों से बारनवापारा अभ्यारण्य में 14-16 हाथियों का दल निवास कर रहा है। साथ ही साथ विगत 8 माह से एक बाघ लगातार अभ्यारण्य में विचरण कर रहा है। बारनवापारा नाम बार और नवापारा गाँव से मिलकर बना है। बारनवापारा अभ्यारण्य अपनी स्थापना के बाद से ही देश के हर हिस्से से पर्यटकों को आकर्षित करता रहा है। बारनवापारा वन्यजीव अभ्यारण्य छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार भाटापारा जिले में स्थित है। अभ्यारण्य का कुल क्षेत्रफल 244.66 वर्ग किमी है। अभ्यारण्य की स्थलाकृति समतल और लहरदार इलाका है।

ऊँचाई 640 मीटर समुद्र तल तक है। बालमदेही,जोंक और महानदी नदियाँ अभयारण्य की जीवन रेखा हैं जो अभयारण्य की जल कमी को पूरा करने के लिए अभयारण्य के साथ बहती हैं। वार्षिक वर्षा 1200 मिमी है इस अभ्यारण्य में सागौन, साल और मिश्रित वन की मुख्य वनस्पति है। पारिस्थितिकी तंत्र को बनाए रखने के लिए इसमें शिकार और शिकारियों का अच्छा घनत्व है। अभ्यारण्य के अंदर स्थित बलार जलाशय में कई आर्द्रभूमि पक्षी और मछलियाँ पाई जाती हैं। यह अभ्यारण्य लोगों में जागरूकता पैदा करने के लिए इकोटूरिज्म को बढ़ावा देता है।

बारनवापारा तक पहुँचने के लिए रायपुर से सड़क मार्ग से दो घंटे का सफर करना पड़ता है। यह रायपुर से NH53 पर 78वें किलोमीटर पर 106 किलोमीटर दूर है। पटेवा एक छोटा शहर है जहाँ बारनवापारा से 28 किलोमीटर की दूरी पर मौसम अनुकूल सड़क पर गाड़ी चलाकर पहुँचा जा सकता है।

मुख्यमंत्री साय ने मांझी-चालकी और बस्तर दशहरा पर्व के पारंपरिक सदस्यों के साथ किया दोपहर का भोजन

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 रायपुर : प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने अपने बस्तर प्रवास के दौरान वर्ष 1921 में स्थापित आमचो बस्तर क्लब बस्तर दशहरा में संभाग के विभिन्न क्षेत्रों से पहुँचे मांझी-चालकी, मेंबर-मेंबरिन और बस्तर दशहरा पर्व के पारंपरिक सदस्यों के साथ दोपहर का भोजन किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने दशहरा समिति के उपाध्यक्ष लक्ष्मण माँझी से चर्चा की।


मुख्यमंत्री ने दोपहर के भोजन में बस्तर के पारंपरिक व्यंजनों के साथ सैगोड़ा, उड़द दाल बड़ा एवं बंगाला चटनी, मिक्स वेज पकोड़ा, चौलाई भाजी, करेला प्याज आलू बैंगन बड़ी, झूड़गा की सब्जी,रायता, पुड़ी, जीरा राइस, दाल तड़का का भी स्वाद लिया।


विश्व प्रसिद्ध बस्तर दशहरा पर्व का ऐतिहासिक मुरिया दरबार संपन्न, मुख्यमंत्री ने माडिया सराय में विकास कार्य हेतु 50 लाख रुपए की घोषणा

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 रायपुर : मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि विश्व प्रसिद्ध बस्तर दशहरा पर्व हमारी आस्था और परम्परा का सबसे महत्वपूर्ण पर्व है, जो सर्वाधिक लम्बी अवधि तक मनाया जाता है। बस्तर दशहरा पर्व को बस्तर अंचल के सभी लोग पूरी श्रद्धा-आस्था के साथ मनाते हैं और इसमें सक्रिय सहभागिता निभाते हैं। वहीं ऐतिहासिक बस्तर दशहरा अब देश-दुनिया के लोगों को अपनी ओर आकर्षित कर वैश्विक स्तर पर प्रसिद्ध हो गया है, जिससे अब पर्यटकों की संख्या में वृद्धि के साथ ही स्थानीय लोगों की आय को संबल मिला है। मां दंतेश्वरी के आशीर्वाद से बस्तरवासियों की अगाध श्रद्धा और सभी लोगों के सहयोग से इस वर्ष भी बस्तर दशहरा का भव्य एवं सफल आयोजन हुआ है।


मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने उक्ताशय के उद्गार आज जगदलपुर के सिरहासार भवन में विश्वप्रसिद्ध बस्तर दशहरा पर्व के अवसर पर आयोजित मुरिया दरबार को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किए। उन्होंने इस अवसर पर माडिया सराय में विकास कार्य के लिए 50 लाख रुपए दिए जाने की घोषणा की। मुख्यमंत्री ने मांझी-चालकी और मेम्बर-मेंबरीन के मानदेय में बढ़ोतरी हेतु जिला प्रशासन और बस्तर दशहरा समिति से प्रस्ताव प्रस्तुत करने के निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने बस्तर दशहरा पर्व के ऐतिहासिक मुरिया दरबार में सम्मिलित होने पर खुशी व्यक्त की और कहा कि मुरिया दरबार का आयोजन सदियों से होता आया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि बस्तर दशहरा पर्व हमारी समृद्ध संस्कृति का प्रतीक है जिसे हम सभी एकजुट होकर श्रद्धा और सहकार की भावना के साथ हर्षाेल्लास मनाते हैं। मुख्यमंत्री ने करीब 3 करोड़ रुपए की लागत से विकसित दशराहा पसरा को बस्तर दशहरा पर्व में आए मांझी-चालकी तथा अन्य लोगों को सुविधा मुहैया करवाने की दिशा में सार्थक प्रयास बताया और कहा कि बस्तर दशहरा पर्व के लिए निर्धारित बजट को 50 लाख रुपए कर दिया गया है। उन्होंने मुरिया दरबार में मांझी-चालकी, मेम्बर-मेम्बरीन और बस्तर दशहरा समिति के पदाधिकारियों की मांग एवं समस्याओं को निराकृत किए जाने की बात कही। मुख्यमंत्री ने बस्तर दशहरा पर्व में सक्रिय सहभागिता निभाने के लिए सभी लोगों को बधाई और शुभकामनाएं दी। उन्होंने मुरिया दरबार में बस्तर विकास प्राधिकरण के पुरखती कागजात का अंग्रेजी संस्करण का विमोचन भी किया।

बस्तर दशहरा पर्व के ऐतिहासिक मुरिया दरबार में बस्तर अंचल के मंत्री, सांसद एवं विधायकों सहित स्थानीय जनप्रतिनिधियों और बस्तर राज परिवार के सदस्य एवं माटी पुजारी श्री कमलचन्द्र भंजदेव, बस्तर दशहरा समिति के उपाध्यक्ष,बस्तर संभाग के विभिन्न क्षेत्रों से आये मांझी-चालकी, मेम्बर-मेम्बरीन तथा बड़ी संख्या में गणमान्य नागरिक, ग्रामीणजन सम्मिलित हुए।

इस अवसर पर माटी पुजारी कमलचन्द्र भंजदेव ने बस्तर दशहरा पर्व के ऐतिहासिक महत्व की जानकारी देते हुए इसे सामाजिक समरसता का अनुपम उदाहरण बताया। उन्होंने बस्तर दशहरा पर्व में शामिल होने के लिए आने वाले देवी-देवताओं हेतु देव सराय की व्यवस्था तथा मांझी-चालकी, पुजारी, गायता सहित ग्रामीणों के ठहरने के लिए बेहतर सुविधा को राज्य सरकार के पहल की सराहना की।

मुरिया दरबार में वन मंत्री केदार कश्यप सहित सांसद बस्तर एवं अध्यक्ष बस्तर दशहरा समिति महेश कश्यप और विधायक जगदलपुर किरणदेव ने बस्तरवासियों को बस्तर दशहरा पर्व की बधाई एवं शुभकामनाएं दी। इस दौरान बस्तर दशहरा समिति के उपाध्यक्ष लक्ष्मण मांझी ने कहा कि विश्व प्रसिद्ध बस्तर दशहरा पर्व सभी के सहयोग तथा व्यापक सहभागिता से सफलतापूर्वक सम्पन्न हुआ है। आने वाले साल में इसे और अधिक बेहतर और भव्यता के साथ मनाएंगे। इस अवसर पर मांझी-चालकी और मेम्बर-मेम्बरीन को मोबाइल भेट किया गया।

 

खट्टा में पालक-शिक्षक बैठक : पांच उद्देश्यों सहित 15 मुद्दों पर चर्चा, तिमाही आंकलन के परिणाम की समीक्षा

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 देवराज साहू, पटेवा (महासमुन्द)। छत्तीसगढ़ शासन स्कूल शिक्षा विभाग के मंशानुरूप ग्राम खट्टा में उच्च प्राथमिक स्तरीय पालक शिक्षक बैठक का आयोजन किया गया जिसमें शाला प्रबंधन समिति के सदस्यों सहित ग्राम खट्टा व कोकड़ी के पालक बड़ी संख्या में उपस्थित हुए जिसमें पांच प्रमुख उद्देश्यों सहित विभागीय निर्देशानुसार 12 मुद्दों एवं स्थानीय मुद्दों पर चर्चा की गई |




उल्लेखनीय है कि पालकों के साथ बेहतर संवाद स्थापित करने उन्हें बच्चों की प्रगति से अवगत कराने एवं बच्चों में भविष्य की संभावनाओं का आंकलन कर बेहतर परिणाम के लिए पालक-शिक्षक बैठक का आयोजन प्रस्तावित था जिसके अंतर्गत शासकीय उच्च प्राथमिक शाला खट्टा में पालक-शिक्षक बैठक का आयोजन किया गया जिसमें प्रस्ताव के प्रथम चरण में बच्चों के शारीरिक- मानसिक एवं सर्वांगीण विकास के लिए विद्यालय एवं पालक स्तर पर रणनीति तैयार की गई जिसके लिए विद्यालय की भांति घर में भी समय – विभाग चक्र बनाकर पालकों की निगरानी में बच्चों द्वारा क्रियान्वित करने का निर्णय लिया गया | प्रस्ताव के द्वितीय चरण में बच्चों की समस्त गतिविधियों के बारे में एक बुकलेट तैयार कर पालकों को जानकारी देते हुए उस पर बिन्दुवार चर्चा की गई|  जिसके तहत तिमाही आंकलन, लम्बी अनुपस्थिति वाले बच्चों की सूची व किये गए प्रयास, छात्रवृत्ति स्वीकृति संबंधी जानकारी, पाठ्यपुस्तक, गणवेश प्रदाय आदि को शामिल किया गया| शिक्षक घनश्याम कुमार द्वारा साधन, प्रयास परीक्षाओं से सम्बंधित जानकारी दी गई | प्रस्ताव के तृतीय चरण में बच्चों में पढ़ाई के प्रति सकारात्मक वातावरण बनाने के लिए स्कूल की भांति घर में भी पालकों द्वारा बच्चों को अपनी निगरानी में पढने के अवसर प्रदान करने का अनुरोध किया गया | प्रस्ताव के चतुर्थ चरण में E ग्रेड प्राप्त बच्चों की समीक्षा की गई तथा उनके पालकों को बच्चों को पठन के लिए प्रेरित करने का अनुरोध किया गया | प्रस्ताव के पांचवें चरण में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 पर चर्चा की गई तथा लम्बे समय से अनुपस्थित बच्चों के पालकों से चर्चा की गई |



 इनके अलावा बच्चों के लिए घर में भी पढ़ने का स्थान चिन्हांकित करना, बच्चों की दिनचर्या सुनिश्चित करना, प्रतिदिन बच्चों से विद्यालयीन शिक्षण पर चर्चा करना, प्रार्थना सभा में बच्चों को अवसर देना, बच्चों की अकादमिक प्रगति की निगरानी करना, पाठ्यपुस्तक सहित विभिन्न पुस्तक उपलब्ध कराना, शनिवार के कार्यक्रम, बच्चों का पोषण व स्वास्थ्य परीक्षण, जाति, आय व निवास प्रमाण पत्र, न्योता भोज, प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए प्रेरित करना, दीक्षा एप-ई जादुई पिटारा-डिजिटल लाईब्रेरी आदि मुद्दों पर चर्चा की गई तथा उपलब्ध बालिका शौचालय मरम्मत एवं अतिरिक्त कक्ष निर्माण पर चर्चा हुई एवं प्रस्ताव तैयार किया गया |

बैठक में अध्यक्ष श्रीमती नामेश्वरी सेन सहित एस एम सी के सदस्य व पालक उपस्थित रहे, प्रधानपाठक ओम नारायण शर्मा ने बैठक का संचालन किया | पालकों ने भी अपने सुझाव दिए |

महासमुंद जिले में रेत खदान का संचालन 16 अक्टूबर से प्रारम्भ, 35 लाख 40 हजार से अधिक की राजस्व वसूली

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 महासमुंद :  जिले में खनिज विभाग द्वारा निविदा के माध्यम से 08 रेत खदानों का आबंटन किया गया है। जिसमें बरबसपुर रेत घाट तथा बड़गांव रेत घाट का संचालन मानसून अवधि के पूर्व किया जा रहा था। पर्यावरण विभाग के गाईडलाईन के अनुसार मानसून अवधि के पश्चात् 16 अक्टूबर से 04 अन्य रेत खदान क्रमशः लाफिनखुर्द, लामीसरार, मुडियाडीह, बल्दीडीह का संचालन किया जाएगा। ग्राम मुरकी में आबंटित रेत खदान पर्यावरण सम्मति हेतु प्रक्रियाधीन है। रेत भंडारण हेतु ग्राम बरबसपुर 04 भंडारण अनुज्ञप्ति एवं ग्राम बिरकोनी 05 भंडारण अनुज्ञप्ति स्वीकृत किया गया है। महासमुंद जिले में कुल 17 अस्थायी भंडारण अनुज्ञा स्वीकृत किया गया है।





खनिज अधिकारी सनत साहू ने बताया कि खनिज विभाग द्वारा खनिजों के अवैध उत्खनन परिवहन एवं भंडारण करने वालों पर लगातार कार्यवाही की जा रही है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में अवैध खनिज अवैध उत्खनन के कुल 07 प्रकरणों में कुल राशि 10 लाख 26 हजार 500 रुपए एवं अवैध परिवहन के कुल 85 प्रकरणों में कुल राशि 14 लाख 85 हजार 486 रुपए तथा अवैध भंडारण के कुल 14 प्रकरणों में 10 लाख 28 हजार 250 अर्थदण्ड राशि वसूल की गई है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में माह सितम्बर तक अवैध उत्खनन, परिवहन एवं भंडारण से कुल राशि 35 लाख 40 हजार 236 रुपए राजस्व की वसूली की गई है। ग्राम बिरकोनी में  दामोदर चंद्राकर स्वीकृत भंडारण अनुज्ञप्ति को छ०ग० खनिज नियम 2009 (परिवहन, उत्खनन एवं भंडारण) के तहत नियमों के उल्लंघन पर निरस्त किया गया।

महाराष्ट्र में एक तो झारखंड में दो चरणों में मतदान, 23 नवंबर होगी वोटो की गिनती, जानिए चुनाव का पूरा शेड्यूल

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 Maharashtra, Jharkhand Election Date : चुनाव आयोग ने आज महाराष्ट्र के लिए विधानसभा चुनावों के कार्यक्रम का ऐलान किया। महाराष्ट्र में विधानसभा की 288 सीटें हैं। चुनावी तारीख को का ऐलान करते हुए मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने बताया कि महाराष्ट्र में 20 नवंबर को वोट डाले जाएंगे जबकि 23 नवंबर को वोटो की गिनती होगी। निर्वाचन आयोग द्वारा घोषित चुनाव कार्यक्रम के अनुसार, महाराष्ट्र में 22 अक्टूबर को अधिसूचना जारी होगी तथा नामांकन की आखिरी तिथि 29 अक्टूबर होगी। कुमार ने बताया कि नामांकन पत्र चार नवंबर, 2024 तक वापस लिए जा सकते हैं।


झारखंड में दो चरणों में वोटिंग

चुनाव आयोग ने झारखंड में दो चरणों में चुनाव कराने का फैसला किया है. पहले चरण के लिए 13 नवंबर और दूसरे चरण के लिए 20 नवंबर को वोट डाले जाएंगे. जबकि नतीजे महाराष्ट्र के साथ 23 नवंबर को सामने आएंगे.

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव का ऐलान, 20 नवंबर को वोटिंग, 23 को रिजल्ट

चुनाव आयोग ने महाराष्ट्र में एक ही चरण में विधानसभा चुनाव कराने का फैसला किया है. महाराष्ट्र में 20 नवंबर को वोटिंग होगी जबकि 23 नवंबर को रिजल्ट सामने आएगा. चुनाव के लिए नोटिफिकेशन 22 अक्टूबर को जारी किया जाएगा.

पोलिंग बूथ पर कुर्सियों की होगी व्यवस्था

चुनाव आयोग ने कहा कि पोलिंग लाइन जब लगती है तो उसमें बीच में थोड़ी कुर्सियां लगाई जाएगी ताकि खासकर बुजुर्ग लोगों को थोड़ी राहत मिल सके. बुजुर्गों को घर से वोट देने की सुविधा उपलब्ध रहेगी.

एनसीपी के कार्यकारी अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि महाराष्ट्र में चुनाव होने हैं और 26 नवंबर से पहले विधानसभा का गठन होना जरूरी है। मुझे बहुत खुशी है कि चुनाव आयोग ने आज चुनाव की तारीखों की घोषणा कर दी है। 20 नवंबर को मतदान और 23 नवंबर को मतगणना होगी। मुझे पूरा यकीन है कि महाराष्ट्र में लोग विकास, अच्छे काम और निश्चित रूप से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व को अपनाएंगे जिसके कारण एनडीए को तीसरी बार जीत मिली है और यह तथ्य भी सामने आया है कि हमने हाल ही में चुनाव देखे हैं। लोगों ने अच्छे काम और विकास तथा भारत सरकार और संबंधित राज्य सरकारों द्वारा लोगों को दी गई योजनाओं के लिए वोट किया है। इसलिए मुझे लगता है कि महाराष्ट्र में हम दोबारा सत्ता में आएंगे

BIG NEWS : सूरजपुर हत्याकांड का मुख्य आरोपी कुलदीप साहू को पुलिस ने किया गिरफ्तार

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रायपुर । सूरजपुर में  प्रधान आरक्षक की पत्नी और बेटी की बेरहमी से हत्या करने वाले आरोपी कुलदीप साहू को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. सूरजपुर पुलिस की टीम ने आरोपी को झारखंड के लोहार गदा स्टेशन से गिरफ्तार किया है. पुलिस कर्मी को घायल और दोहरे हत्याकांड को अंजाम देने के बाद आरोपी फरार हो गया था.


बहुचर्चित सूरजपुर के दोहरे हत्या कांड में वांछित आरोपी को बलरामपुर पुलिस ने सोमवार को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी झारखंड की ओर से आ रही एक यात्री बस में सवार होकर भागने की कोशिश कर रहा था। पुलिस को मुखबिर से मिली पुख्ता जानकारी के आधार पर उसे घेराबंदी कर धर दबोचा गया।

सूत्रों के अनुसार, आरोपी से पुलिस ने साइबर सेल में गहन पूछताछ शुरू कर दी है। शुरुआती पूछताछ में आरोपी ने कुछ महत्वपूर्ण सुराग दिए हैं, जिनसे पुलिस को इस हत्या कांड के पीछे के कारणों का पता चलने की उम्मीद है।

एनकाउंटर पर एक लाख देने का ऐलान

पुलिस परिवार की तरफ से आरोपी पर ईनाम की घोषणा कर दी गई है। पुलिस परिवार की तरफ से कुलदीप साहू को पकड़ने वाले को 50 हजार और एनकाउंटर करने वाली टीम को एक लाख रुपये नगद पुरस्‍कार देने की घोषणा की गई है। बता दें क‍ि पुलिस परिवार एक संगठन है, जो प्रदेश में पुलिस कर्मचारियों के कल्‍याण के लिए संघर्ष करता है।

मुख्यमंत्री साय ने बस्तर दसराहा पसरा के विकास कार्य का किया लोकार्पण

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 जगदलपुर : मुख्यमंत्री  विष्णु देव साय ने आज बस्तर जिले के एक दिवसीय प्रवास के दौरान 2 करोड़ 99 लाख 78 हजार से अधिक की लागत के बस्तर दसराहा पसरा के विकास कार्य का लोकार्पण किया। यहां दंतेश्वरी मंदिर के समीप स्थित पुराने तहसील कार्यालय का जीर्णोद्धार कर बस्तर दशहरा के लिए समर्पित किया गया है। इसका नाम बस्तर दसराहा पसरा (बस्तर दशहरा हेतु स्थल) दिया गया है।


मुख्यमंत्री ने पसरा में बस्तर दशहरा के विभिन्न रस्मों की फोटो प्रदर्शनी, प्रतीकात्मक रथ, देवी देवताओं के प्रतिकों अवलोकन कर उनकी सराहना की। उन्होंने प्रतीकात्मक रथ के समीप फोटो भी खिंचवाई।


दसराहा पसरा में 75 दिवसीय दशहरा उत्सव में होने वाले मुख्य विधि विधान जिनमें पाट जात्रा, डेरी गढ़ाई, काछन गादी, रैला देवी पूजा, जोगी बिठाई, रथ परिक्रमा, बेल पूजा, निशा जात्रा, मावली परघाव, भीतर रैनी-बाहर रैनी काछन जात्रा, कुटुम्ब जात्रा एवं डोली विदाई की जीवन्त प्रतिकृति स्थापित कर जन सामान्य एवं पर्यटकों को सुलभ जानकारी देने का प्रयास किया गया है।

प्रसिद्ध बस्तर दशहरा पर्व छत्तीसगढ़ की अनुठी सांस्कृतिक विशेषतापूर्ण एवं बस्तर के जन-जातियों की आराध्य देवी दन्तेश्वरी तथा स्थानीय देवी-देवताओं की पूजा विधान के रूप में मनाया जाता है। तहसील कार्यालय में पहले से चली आ रही परंपरा अनुसार दशहरा पर्व में शामिल होने वाले क्षेत्र के सभी देवी देवता, आंगादेव, देवी की छत्र की उपस्थिति का दर्ज इसी स्थल पर किया जाता रहा है। इसलिए प्रशासन द्वारा तहसील कार्यालय को अन्य स्थल पर स्थांनातरित कर पुराने तहसील कार्यालय को दसराहा पसरा के लिए चिन्हांकित कर दिया गया है।

इस अवसर पर वनमंत्री  केदार कश्यप, सांसद  महेश कश्यप, कांकेर सांसद  भोजराज नाग, विधायक किरण देव, कोंडागाँव विधायक लता उसेंडी,चित्रकोट विधायक विनायक गोयल, दंतेवाड़ा विधायक श्री चैतराम अटामी, महापौर सफिरा साहू, साथ ही पूर्व सांसद और विधायक, पार्षदगण एवं अन्य गणमान्य जनप्रतिनिधि, कमिश्नर  डोमन सिंह, आईजी  सुंदरराज पी., कलेक्टर  हरिस एस, पुलिस अधीक्षक शलभ सिन्हा सहित अन्य गणमान्य जनप्रतिनिधि और अधिकारी उपस्थित थे।

बारनवापारा अभ्यारण्य में 21 से 23 अक्टूबर को बटरफ्लाई मीट का होगा आयोजन, तितलियों को जानने और पहचानने का मिलेगा मौका

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 रायपुर : वन विभाग एवं बारनवापारा अभ्यारण्य के संयुक्त तत्वाधान में 21 से 23 अक्टूबर 2024 को अभ्यारण्य में बटरफ्लाई मीट का आयोजन किया जाएगा। जिसके माध्यम को प्रकृति प्रेमियों को तितलियों को करीब से जानने और पहचानने का मौका मिलेगा। साथ ही विषय विशेषज्ञों द्वारा तितलियों के पर्यावास एवं उनके महत्त्व के संबध में महत्वपूर्ण जानकारियां प्रतिभागियों के साथ साझा की जाएंगी। उक्त आयोजन की तीसरी कड़ी है। इसके पूर्व 2022 एवं 2023 में यह आयोजन किया गया था। विभाग द्वारा बटरफ्लाई मीट की तैयारी पूरी कर ली गई है। आयोजन में भाग लेने एवं जानकारी प्राप्त करने के लिए क्यू आर कोड भी जनरेट किया गया है जिसके माध्यम से आसानी से पंजीयन कराया जा सकता है। मीट में प्रतिभागी स्टूडेंट के 15 सौ रूपये एवं अन्य व्यक्तियों के लिए 2 हजार रूपये पंजीयन शुल्क रखा गया है। इसके साथ ही भाग लेने के लिए 18 वर्ष से 60 वर्ष की आयु निर्धारित की गई है।


वन विभाग एवं बारनवापारा अभ्यारण्य के संयुक्त तत्वाधान में 21 से 23 अक्टूबर 2024 को अभ्यारण्य में बटरफ्लाई मीट का आयोजन किया जाएगा। जिसके माध्यम को प्रकृति प्रेमियों को तितलियों को करीब से जानने और पहचानने का मौका मिलेगा। साथ ही विषय विशेषज्ञों द्वारा तितलियों के पर्यावास एवं उनके महत्त्व के संबध में महत्वपूर्ण जानकारियां प्रतिभागियों के साथ साझा की जाएंगी। उक्त आयोजन की तीसरी कड़ी है। इसके पूर्व 2022 एवं 2023 में यह आयोजन किया गया था। विभाग द्वारा बटरफ्लाई मीट की तैयारी पूरी कर ली गई है। आयोजन में भाग लेने एवं जानकारी प्राप्त करने के लिए क्यू आर कोड भी जनरेट किया गया है जिसके माध्यम से आसानी से पंजीयन कराया जा सकता है। मीट में प्रतिभागी स्टूडेंट के 15 सौ रूपये एवं अन्य व्यक्तियों के लिए 2 हजार रूपये पंजीयन शुल्क रखा गया है। इसके साथ ही भाग लेने के लिए 18 वर्ष से 60 वर्ष की आयु निर्धारित की गई है।

गौरतलब है कि बारनवापारा अभ्यारण्य में 150 प्रजाति के तितली एवं मोथ पायी जाती हैं। जिसमे से वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम 1972 की शेड्यूल वन की क्रिमसन रोज (पैचीलौप्टा हेक्टर) डनाइड इगली (हाइपो सिलिमस मिसीपस) शेड्यूल दो की सिपोरा निरिसा,होगारा एनेक्स, यूक्रीशॉप्स सीनेजस, जेनेलिया लेपीडिया रपेला वरुणा,लैंपिडर्स बोइहन, तजुना शिप्स आदि पाई जाती है। शेड्यूल छह के भी बहुत से प्रजातियां पाई जाती हैं। विगत तीन वर्षों से बारनवापारा अभ्यारण्य में 14-16 हाथियों का दल निवास कर रहा है। साथ ही साथ विगत 8 माह से एक बाघ लगातार अभ्यारण्य में विचरण कर रहा है। बारनवापारा नाम बार और नवापारा गाँव से मिलकर बना है। बारनवापारा अभ्यारण्य अपनी स्थापना के बाद से ही देश के हर हिस्से से पर्यटकों को आकर्षित करता रहा है। बारनवापारा वन्यजीव अभ्यारण्य छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार भाटापारा जिले में स्थित है। अभ्यारण्य का कुल क्षेत्रफल 244.66 वर्ग किमी है। अभ्यारण्य की स्थलाकृति समतल और लहरदार इलाका है। ऊँचाई 640 मीटर समुद्र तल तक है। बालमदेही,जोंक और महानदी नदियाँ अभयारण्य की जीवन रेखा हैं जो अभयारण्य की जल कमी को पूरा करने के लिए अभयारण्य के साथ बहती हैं। वार्षिक वर्षा 1200 मिमी है इस अभ्यारण्य में सागौन, साल और मिश्रित वन की मुख्य वनस्पति है। पारिस्थितिकी तंत्र को बनाए रखने के लिए इसमें शिकार और शिकारियों का अच्छा घनत्व है। अभ्यारण्य के अंदर स्थित बलार जलाशय में कई आर्द्रभूमि पक्षी और मछलियाँ पाई जाती हैं। यह अभ्यारण्य लोगों में जागरूकता पैदा करने के लिए इकोटूरिज्म को बढ़ावा देता है।

बारनवापारा तक पहुँचने के लिए रायपुर से सड़क मार्ग से दो घंटे का सफर करना पड़ता है। यह रायपुर से NH53 पर 78वें किलोमीटर पर 106 किलोमीटर दूर है। पटेवा एक छोटा शहर है जहाँ बारनवापारा से 28 किलोमीटर की दूरी पर मौसम अनुकूल सड़क पर गाड़ी चलाकर पहुँचा जा सकता है।

मुख्यमंत्री देव साय को 27 वें अखिल भारतीय वन खेलकूद प्रतियोगिता में शामिल होने का निमंत्रण

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 रायपुर : मुख्यमंत्री विष्णु देव को राजधानी रायपुर में 16 से 20 अक्टूबर तक आयोजित 27वें अखिल भारतीय वन खेलकूद प्रतियोगिता में शामिल होने का आमंत्रण मिला है। साय से आज यहाँ उनके निवास कार्यालय में वन मंत्री  केदार कश्यप के नेतृत्व में वन विभाग के अधिकारियों ने भेंटकर उन्हें शुभारंभ कार्यक्रम के लिए आमंत्रित किया। मुख्यमंत्री साय ने अधिकारियों को सफल आयोजन के लिए शुभकामनाएं देते हुए कहा कि इस प्रतिष्ठित प्रतियोगिता की मेजबानी करना छत्तीसगढ़ के लिए गर्व की बात है। इस मौके पर अधिकारियों ने उन्हें स्पोर्ट्स किट भी भेंट किया।


इस अवसर पर प्रधान मुख्य वन संरक्षक एवं वन बल प्रमुख व्ही. श्रीनिवास राव, एडिशनल पीसीसीएफ सुनील मिश्रा, एडिशनल पीसीसीएफ अरूण पाण्डेय, एडिशनल पीसीसीएफ संजीता गुप्ता, मुख्य वन संरक्षक शालिनी रैना, सीसीएफ राजू अगासिमनी भी उपस्थित थे।

प्रतियोगिता की नोडल अधिकारी शालिनी रैना (मुख्य वन संरक्षक मानव संसाधन व आईटी) ने बताया कि यह एक वृहद व प्रतिष्ठित आयोजन है जो वनों की सुरक्षा व वन्य प्राणियों के संरक्षण को लेकर समर्पित है, जिसमें देशभर के अनेक प्रतिभागी शामिल होने वाले हैं। उन्होंने बताया कि राजधानी के 27वें अखिल भारतीय वन खेलकूद प्रतियोगिता में देशभर से करीब 3 हजार से अधिक प्रतिभागी शामिल होंगे। वन विभाग के अधिकारी-कर्मचारी इस पांच दिवसीय प्रतियोगिता के सफल आयोजन के लिए सतत प्रयासरत है।

गौरतलब है कि राजधानी रायपुर में 16 से 20 अक्टूबर तक आयोजित होने वाले अखिल भारतीय वन खेलकूद प्रतियोगिता का उद्घाटन राजधानी के कोटा स्थित स्टेडियम में होगा। कार्यक्रम में भारतीय टी-20 क्रिकेट टीम के कप्तान और युवाओं में स्काई के नाम मशहूर क्रिकेटर सूर्य कुमार यादव शामिल होंगे। साथ ही आयोजन के समापन समारोह में ओलंपिक पदक विजेता सुश्री मनु भाकर भी शामिल होंगी। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने भी वीडियो जारी कर प्रतियोगिता में भाग लेने वाले देशभर के वन सेवा के अधिकारी व कर्मचारियों को बधाई देते हुए आयोजक वन विभाग, छत्तीसगढ़ शासन को शुभकामनाएं प्रेषित की है।

 

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