अक्सर लोग अपने बच्चों को सरकारी स्कूल (government school) में पढ़ाने से बचते हैं और बड़ी फीस देकर प्राइवेट स्कूल का रुख करते हैं, ताकि उनके बच्चे का भविष्य (future) उज्जवल हो।सरकारी स्कूलों की पढ़ाई की लचर व्यवस्था देखकर कोई अपने बच्चों को सरकारी स्कूल में नहीं भेजता है।लेकिन सच तो ये भी है कि अगर कोई पढ़ने की ठान ले तो जगह मायने ही नहीं रखती, फिर चाहे वो संस्था सरकारी हो या प्राइवेट। इस बात का प्रमाण है बिहार के सरकारी स्कूल के आदित्य सिंद्धात।
एक कहावत है कि "कश्तियां जिद पर होती हैं तो हार जाते हैं तूफान"। इस बात को साबित कर दिखाया है बिहार के पूर्णिया के रहने वाले 22 साल के आदित्य सिद्धांत ने। जिन्हें विश्व की सबसे बड़ी टेक्नोलॉजी कंपनी गूगल (google) ने 2.30 करोड़ रुपये के सालाना पैकेज के साथ जॉब दी है।गूगल ने सिद्धांत को अमेरिका के कैलिफॉर्निया में स्थित हेडक्वार्टर में नियुक्त किया है।आदित्य की इस जर्नी में काफी उतार-चढ़ाव आए, जिसके बाद उन्हें यह मुकाम हासिल हुआ है।
सरकारी स्कूल से पढ़कर किया ये मुकाम हासिल
सिद्धांत ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा भवानीपुर के सरकारी स्कूल से प्राप्त की है। सिद्धांत के पिता नंदकिशोर साह खगड़िया में एडीएम (ADM) पद पर कार्यरत हैं. जबकि आदित्य की मां शशि रेखा भागलपुर विश्वविद्यालय से वनस्पति विज्ञान की स्नातकोत्तर टॉपर रह चुकी हैं। आदित्य का परिवार मूल रूप से बिहार के कटिहार के रहने वाला है। सिद्धांत ने अपनी प्लस टू की पढ़ाई कटिहार के स्कॉटिश पब्लिक स्कूल से पूरी की, जिसके बाद उन्होंने आईआईटी में प्रवेश लिया। उन्होंने गुवाहाटी आईआईटी से बीटेक किया।
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सिद्धांत ने गुवाहाटी आईआईटी से बीटेक (B. tech) करने के बाद कार्नेजी मेलॉन यूनिवर्सिटी (सीएमयू) पिट्सबर्ग में मास्टर्स की पढ़ाई की थी। मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो साल 2013 में आईआईटी की मुख्य परीक्षा में सिद्धांत की तबियत काफी बिगड़ गई थी। लेकिन सपनों पर काम करने वाले सिद्धांत ने जीवन की उड़ान को जारी रखा और परीक्षा में शामिल हुए. उन्होंने फिजिक्स में 120 में 120 अंक किए और अपना डंका बजा दिया।
मिल चुका है अमेरिका एक्सप्रेस एनालाइज अवार्ड
एजुकेशन की दुनिया में आदित्य सिद्धांत को कई पुरस्कार दिए जा चुके हैं। सिद्धांत को उनके जबरदस्त दिमाग की वजह से अमेरिका एक्सप्रेस एनालाइज अवार्ड से सम्मानित किया गया।जबकि इससे पहले ही आदित्य को साल 2017 में माइक्रोसॉफ्ट ने अपने रिसर्च अवार्ड से सम्मानित किया था। बता दें कि इससे पहले सिद्धांत को माइक्रोसॉफ्ट, फेसबुक और अमेजन जैसी विश्व की सबसे बड़ी कंपनियों ने भी जॉब ऑफर किया था, लेकिन सिद्धांत ने अपने दिल की सुनी और 4 फरवरी को गूगल जॉइन कर लिया।