छत्तीसगढ़ में बढ़ती गर्मी के बीच लू जैसी गर्म हवाएं चलने लगी हैं। मौसम विभाग ने भी आगामी 24 घंटे के लिए हीट वेव चलने की चेतावनी जारी की है। ऐसे में संवेदनशील मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने लू से बचाव के लिए स्वास्थ्य विभाग समेत विभिन्न विभागों को आवश्यक उपाय अपनाने के लिए निर्देश दिए हैं। उन्होंने हीट वेव से नागरिकों को बचाने के लिए सभी आवश्यक प्रयास करने को कहा है। वहीं सार्वजनिक स्थानों पर छायादार शेड, शीतल पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा गया है।
मुख्यमंत्री के निर्देश पर तत्काल सक्रियता दिखाते हुए राजस्व और आपदा प्रबंधन विभाग, नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग समेत विभिन्न विभागों ने मातहत कार्यालयों के लिए दिशा-निर्देश भी जारी कर दिए। मुख्यमंत्री बघेल ने मौसम विभाग की चेतावनी और प्रदेश में बढ़ती गर्मी को देखते हुए लू को लेकर चिंता जताई है। ऐसी स्थिति में जनसामान्य के स्वास्थ्य पर लू के प्रभाव को देखते हुए लू से बचाव के आवश्यक उपाय करने के लिए कहा गया है। मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार विभिन्न विभागों ने मातहत विभागों को दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं।
वॉलेंटियर की तैनाती के लिए दिशा-निर्देश जारी
जारी दिशा-निर्देश के मुताबिक मौसम विभाग की ओर से जारी की जाने वाली बुलेटिन को प्रतिदिन समाचार-पत्रों, टीवी न्यूज चैनलों और अन्य संचार माध्यमों से लोगों तक पहुंचाने के लिए कहा गया है। वहीं सावधानियों से संबंधित प्रचार-प्रसार होर्डिंग और अन्य माध्यमों से करने के लिए निर्देशित किया गया है। सभी सार्वजनिक स्थलों पर छायादार शेड, शीतल पेयजल की व्यवस्था, ओ.आर.एस. व ग्लूकोस की व्यवस्था, फर्स्ट एड बॉक्स (प्राथमिक चिकित्सा उपकरण) की उपलब्धता, आवश्यक दवाइयों का भंडार, वॉलेंटियर की तैनाती के लिए दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं।
लू से बचाने आवश्यक प्रबंध के निर्देश
वहीं वन्य जीवों, पशु-पक्षियों के लिए भी पीने के पानी की व्यवस्था, वन-अग्नि को रोकने के लिए आवश्यक उपाय, सार्वजनिक स्थलों पर वृक्षारोपण एवं पशुपालकों को लू के प्रभाव से बचाने जनजारूकता कार्यक्रम चलाने के लिए निर्देशित किया गया है। छत्तीसगढ़ शासन के नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग द्वारा प्रदेश के सभी नगरीय निकायों के अधिकारियों को गर्मी के इस मौसम में लोगों को लू (तापघात) के प्रकोप से बचाने और इससे होने वाली क्षति को कम करने के लिए राजस्व-आपदा प्रबंधन विभाग के दिशा निर्देश के तहत आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।
'उपयोग से संबंधित आवश्यक निर्देश लिखा जाएं'
नगरीय निकायों के अधिकारियों को सार्वजनिक स्थलों जैसे बाजारों, प्रमुख कार्यालय और चिन्हित सार्वजनिक स्थलों में लू से बचाव के लिए पर्याप्त छायादार स्थल (शेड) की व्यवस्था की जाए, ताकि जनसामान्य इन स्थलों पर लू से अपना बचाव कर पाएं। आवश्यकतानुसार इन स्थलों को शीतल रखने की व्यवस्था भी की जाएं। इन चिन्हित स्थलों पर लू से बचाव हेतु स्वास्थ्य विभाग से समन्वय कर प्राथमिक इलाज के लिए फस्ट ऐड बॉक्स भी रखा जाए और इसके उपयोग से संबंधित आवश्यक निर्देश लिखे जाएं।
अधिकारियों को दिए गए निर्देश
अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि स्थानीय स्वयंसेवी संगठनों से विचार विमर्श कर आवश्यकतानुसार इन स्थलों पर वॉलंटियर की तैनाती भी की जा सकती है, जो आपात स्थिति में प्राथमिक और करने में सक्षम हो। इन चिन्हित स्थलों पर शीतल जल (प्याऊ) की पर्याप्त व्यवस्था सुनिश्चित की जाए और यह भी सुनिश्चित किया जाए कि पेय जल-स्त्रोत में पीने के लिए जल उपलब्ध हो। इस काम की निगरानी के लिए नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायत के कर्मियों की क्षेत्रवार जिम्मेदारी निर्धारित की जाए। अधिकारियों को लू से बचाव के लिए किए गए कार्यों का प्रतिवेदन नगरीय प्रशासन विभाग को भेजने के भी निर्देश दिए गए हैं।