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डेंगू और वायरल फीवर का कहर जारी, ननद-भाभी और 5 बच्चों समेत 21 लोगों की मौत

देश में कोरोना की दूसरी लहर का कहर अभी थमा नहीं है। अभी भी रोजाना 15 हजार से ज्यादा मामले सामने आ रहे हैं। वहीं रोजाना 100 से ज्यादा लोगों की मौत हो रही है। इसी बीच उत्तर प्रदेश में वायरल बुखार और डेंगू का प्रकोप बढ़ता जा रहा है।  डेंगू और बुखार के कारण अब तक कई लोगों की मौत हो चुकी है। राज्य के अलग-अलग शहरों में लगातार मौतों का सिलसिला जारी है। अस्पतालों में हर जगह डेंगू और बुखार के मरीजों से वार्ड भरे पड़े हैं। वहीं सोमवार को वायरल बुखार और डेंगू से 21 और लोगों की मौत हुई है। कासगंज के 7, एटा के 4, आगरा के 2 और मथुरा के 3 लोगों ने बुखार और डेंगू से जान गंवाई है। 


वहीं फिरोजाबाद जिले में 5 और बच्चों की बुखार से मौत हो गई। जिले के हाथवंत क्षेत्र के गांव लालई में पदम कुमार 11 साल,  ढूंढपुरा की माधुरी 9 साल,  जसराना के गांव कुशियारी के कृष्णा 5 साल, चिंटू 3 साल और रिषी 5 साल ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया है। रिषी और चिंटू दोनों सगे भाई थे। वहीं कुशियारी गांव में 24 से ज्यादा लोग अभी बुखार से पीड़ित हैं। आगरा के गांव नगला सती में 20 घंटे में अनीता और उसकी भाभी कृष्णा देवी की बुखार से मौत हो गई है। एक ही घर में दो लोगों की मौत से पूरे इलाके में सन्नाटा पसर गया है। 


ननद-भाभी की मौत

परिजन ने बताया कि बेटी अनीता को गुरुवार को बुखार आने पर आंवलखेड़ा के एक डॉक्टर से दवा दिलाई थी। हालत में सुधार न होने पर उसे आगरा के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां रविवार को इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। जबकि अनीता की भाभी कृष्णा देवी भी बुखार से पीड़ित थी। हालत खराब होने पर शनिवार को परिजन उसे भी डॉक्टर के यहां ले गए थे, लेकिन उसकी हालत में कोई सुधार नहीं आया। इसके बाद परिजन ने उसे आगरा के निजी अस्पताल में भर्ती कराया, जहां सोमवार को कृष्णा की मौत हो गई।

डेंगू और वायरल बुखार से 3 लोगों की मौत

मथुरा में बीते 2 दिनों में डेंगू और बुखार से 3 की मौत हो गई है। डेंगू से बच्ची की मौत के बाद परिवार के लोगों ने सोमवार को जिला अस्पताल में हंगामा भी किया और डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप भी लगाया है। इधर, सोमवार को जनपद में एक दिन में 32 डेंगू के मरीज मिले हैं। वहीं गांव बछगांव में 13 साल के लड़के की मौत हो गई। इसी गांव के 13 साल के एक और बच्चे योगेंद्र सिंह की मौत भी डेंगू से हो गई है। वो बीते कई दिनों से बीमार था। बछगांव में 4 दिन पहले भी 14 महीने की मानवी  की मौत हो गई थी। कासगंज जिले में सोमवार को डेंगू और बुखार से मासूम समेत 4 लोगों की जान चली गई है। वहीं एटा में 24 घंटे के अंदर एक किशोरी सहित चार की मौत बुखार से हो गई है।

डेंगू से बचने के उपाय 

डेंगू फैलाने वाला मच्छर रूके हुए साफ पानी में पनपता है। जैसे कि कूलर , पानी की टंकी , फ्रिज की ट्रे , फूलदान , नारियल का खोल , टूटे हुए बर्तन और टायर। इसके लिए सभी लोगों को चाहिए कि वे पानी से भरे हुए बर्तनों और टंकियों को ढक कर रखें। कूलर को हफ्ते में एक दिन आवश्यक रूप से सुखाए । बता दें कि डेंगू का मच्छर दिन के समय काटता है। ऐसे में बदन को पूरी तरह ढकने वाले कपड़े पहने। डेंगू के इलाद के लिए कोई खास दवा या वैक्सीन नहीं है। बुखार उतारने के लिए पैरासीटामाल टेबलेट का उपयोग किया जाता है। लोगों को यह भी सलाह दी जाती है कि वे एस्प्रीन या आइबु्रफेन का इस्तमाल अपने आप न करें। डेंगू होने पर डॉक्टर की सलाह ले।

कब पनपते हैं डेंगू के मच्छर?

डेंगू के मच्छर अधिकतर जुलाई से अक्टूबर के बीच ही पनपते हैं। इस मौसम में मच्छरों के पनपने के लिए अनुकूल परिस्थितियां होती हैं। एडीज मच्छर 3 फीट से ज्यादा ऊंचाई तक नहीं उड़ पाता है। एडीज मच्छर गर्म से गर्म माहौल में भी जिंदा रह सकता है। मानसून के समय पानी इकठ्ठा होने से डेंगू के मच्छर पनपने का अधिक खतरा रहता है। इसलिए गर्मियों की शुरुआत के साथ ही और लोगों के घरों में कूलर लगने के बाद ही बारिश में स्वास्थ्य विभाग घरों में कूलर में पानी जमा होने की चेकिंग शुरू कर देते हैं। इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है की यह बीमारी अभी भी उतनी ही घातक है और इसे लेकर पूरी जानकारी होना बेहद जरूरी है।

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