रायपुर : शासकीय दूधाधारी बजरंग महिला महाविद्यालय रायपुर में महाविद्यालय के इतिहास विभाग,आई . क्यू. ए .सी. महाकोसल इतिहास परिषद,रायपुर एवं संचालनालय पुरातत्व, संग्रहालय एवं अभिलेखागार के संयुक्त तत्वावधान में दो दिवसीय राष्ट्रीय सेमिनार का आयोजन किया जा रहा है।
उद्घाटन सत्र में मुख्य अतिथि विधायक,आरंग गुरु खुशवंत साहेब ने कहा कि छत्तीसगढ़ की संस्कृति विशिष्ट संस्कृति है । आरंग ऐतिहासिक और पुरातात्विक महत्व रखता है। आरंग क्षेत्र का विशेष इतिहास पुराणों में निहित है इस सेमिनार के माध्यम से बहुत सारी नई जानकारी मिलेगी जिससे आरंग को अलग स्थान प्रदान करने में सहायता मिलेगी।महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. किरण गजपाल ने महाविद्यालय का संक्षिप्त परिचय दिया और कहा कि इस सेमिनार के माध्यम से नवीन तथ्यों का उद्घाटन होगा एवम नवीन ज्ञान की प्राप्ति होगी।
विशिष्ट अतिथि हिमांशु द्विवेदी ने कहा कि आरंग पूरे देश के लिए ऐतिहासिक संदर्भ रखती है। इस सेमिनार के माध्यम से आरंग को ऐतिहासिक दृष्टि से नई पहचान मिलेगी। सेमिनार के प्रथम टेक्निकल सत्र में डॉ. रामकुमार बेहार एवं डॉ. शबनूर सिध्दकी, डॉ. हरि शर्मा पूर्व विभागाध्यक्ष इतिहास उपस्थिति रहे।
कार्यक्रम की रूपरेखा का परिचय इतिहास विभागाध्यक्ष डॉ. शम्पा चौबे ने दिया कार्यक्रम का संचालन डॉ. सरिता दुबे ने किया व आभार डॉ. महेंद्र सार्वा ने किया। इस कार्यक्रम में महाविद्यालय इतिहास विभाग के नितिन पाण्डेय उपस्थित रहे। समापन सत्र में मुख्य अतिथि पद्मश्री अनुज शर्मा विधायक, धरसीवां विधानसभा ने कहा कि मैं भी इतिहास का विद्यार्थी रहा हूँ। इतिहास के दोतरफ़ा फायदे हैं हमें अपने प्राचीन इतिहास का ज्ञान कराते हैं साथ ही हमें आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करते हैं।
विशिष्ट अतिथि द्वय तरुणा साहू और कमलेश जैन उपस्थित रहे। डॉ. खूंटे, डॉ. रोशनी मिश्रा, डॉ. नंदा गुरूवारा, डॉ. सविता मिश्रा, डॉ. सरिता दुबे, डॉ. अभिषेक अग्रवाल, डॉ. हेमवती ठाकुर, डॉ. संजीता घोष आदि प्राध्यापकों एवं शोधार्थियों ने पत्र प्रस्तुत किया । इस कार्यक्रम में महाविद्यालय के प्राध्यापक , एवं विभिन्न राज्यों से आये 211 प्रतिभागियों एवं छात्र- छात्राएँ सम्मिलित हुए। गुजरात, महाराष्ट्र, उड़ीसा ,उत्तर प्रदेश से प्राध्यापक, शोधार्थी आनलाईन सम्मिलित हुए। समापन में छात्राओं द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया गया।