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आज है सावन का आखिरी सोमवार व्रत, प्रदोष व्रत का भी बन रहा है संयोग

हिन्दू धर्म में सावन महीना भगवान शिव  को समर्पित होता है और इस महीने में विभिन्न रीतिरिवाज़ और उपवास  किए जाते हैं जिससे भगवान शिव की कृपा प्राप्त की जा सके. अब सावन का महीने  अपने आखिरी दौर में है. आज सावन का आखिरी सोमवार व्रत रखा जा रहा है. अधिक मास की वजह से इस बार सावन 2 महीने का रहा है.


सावन का आखिरी सोमवार 

इस साल सावन का आखिरी और आठवां सोमवार व्रत 28 अगस्त को रखा जा रहा है. आज ही पुत्रदा एकादशी का पारण और सोम प्रदोष व्रत भी है. पंचाग के अनुसार 28 अगस्त को शाम 06 बजकर 22 मिनट तक शुक्ल पक्ष की द्वादशी तिथि है और इसके बाद त्रियोदशी तिथि शुरू हो रही है. ऐसे में सुबह सोमवार व्रत की पूजा और शाम को प्रदोष व्रत की पूजा की जा सकती है.

शुभ मुहूर्त 

सुबह का मुहूर्त सुबह 09 बजकर 09 मिनट से दोपहर 12 बजकर 23 मिनट तक है
प्रदोष काल मुहूर्त शाम 06 बजकर 48 मिनट से रात 09 बजकर 02 मिनट तक है

सावन सोमवार व्रत पूजा विधि 
सावन के आखिरी सोमवार को भगवान शिव की पूजा करने के लिए निम्नलिखित पूजा विधि का अनुसरण कर सकते हैं.

पूजा का आयोजन सुबह सवेरे करें, जब वातावरण शुद्ध और प्राणी शक्तियों की ऊर्जा सक्रिय होती है.
पूजा स्थल को साफ-सुथरा करें और शिवलिंग को गंगाजल से स्नान कराएं.
शिवलिंग पर चंदन, कुमकुम, बिल्वपत्र, फूल, और धूप-दीप चढ़ाएं.
मंत्रों के साथ भगवान शिव की आराधना करें, जैसे कि "ॐ नमः शिवाय" या अन्य शिव मंत्रों का जाप करें.
भगवान शिव की पूजा-अर्चना करें और भगवान शिव की कृपा के लिए प्रार्थना करें.
प्रसाद के रूप में फल, पंचामृत, और बिल्व के पत्ते का अन्न भगवान को चढ़ाएं और फिर खुद प्रसाद ग्रहण करें.
पूजा के बाद व्रत खोलें और भगवान से कृपा की कामना करें.

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