रायपुर। छत्तीसगढ़ में चल रहे विधानसभा सत्र में आज बीजेपी विधायकों ने वॉकआउट कर दिया। दरअसल सदन में आज किसानों की आत्महत्या का मामला उठा। नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक के अलावा शिवरतन शर्मा ने सत्ता पक्ष को घेरा। पूरे मामले में कांग्रेस की ओर से भाजपा पर भी आरोप लगाए गए। आखिर में मंत्री के जवाब से असंतुष्ट होकर भाजपा विधायकों ने सदन से वॉकआउट किया।
बीजेपी विधायक शिवरतन शर्मा ने कहा कि कोंडागांव जिले के किसान धनीराम ने आत्महत्या की थी। उसके अभिलेखों और फसल गिरदावरी में त्रुटि पाए जाने की वजह से पटवारी डोंगर नाग को निलंबित कर दिया गया। नकली खाद बीज को लेकर किसान ने आत्महत्या की, क्या जांच हुई?
कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे ने कहा कि आत्महत्या करने वाले किसानों में से सिर्फ एक किसान के पास से सुसाइड नोट मिला था। नकली खाद बीज का मामला सामने आने के बाद राजनांदगांव में छापा मारा गया। बीजेपी से जुड़ा एक कारोबारी का नाम सामने आया, वह किससे जुड़ा है? मंत्री के जवाब से असंतुष्ट बीजेपी विधायकों ने वॉकआउट कर दिया।
मृत किसानों के परिजन को मिला कितना मुआवजा
नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने सवाल उठाते हुए कहा कि दस महीनों के भीतर 141 किसानों ने आत्महत्या की है। किसानों को आत्महत्या की जांच होनी चाहिये। उन्होंने सवाल किया कि मृत किसानों के परिजनों को कितना मुआवजा दिया गया।
कृषि मंत्री ने दिया जवाब
कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने जवाब में बताया कि अप्रैल 2020 से 1 फरवरी 2021 तक की अवधि में कुल 141 किसानों ने विभिन्न कारणों से आत्महत्या की है। पिछले 15 सालों के कार्यकाल में कितने किसानों ने आत्महत्या की, यह हमने देखा है। पिछली सरकार में भी किसानों की आत्महत्या पर कभी मुआवजा नही दिया गया। इसकी कोई नीति भी नही है।
CM बोले- आपके राज में तो हम पर ही लगा दी पेशी
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि पिछली सरकार में चंद्रशेखर साहू कृषि मंत्री थे। उनके ही गांव में एक किसान ने आत्महत्या कर ली थी। तब धनेंद्र साहू प्रदेश अध्यक्ष थे, उनके नेतृत्व में हम उस गांव में गए थे। हम सबके खिलाफ प्रकरण दर्ज कर लिया गया था, हम पेशी में खड़े होते थे।