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मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना के तहत शादी के बंधन में बंधे 57 जोड़े

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मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना (Mukhyamantri Kanya Marriage Scheme) के अंतर्गत 18 साल से ज्यादा उम्र की अधिकतम दो कन्याओं के विवाह में सहयोग प्रदान किया जाता है। महिला एवं बाल विकास द्वारा समय-समय पर इस योजनांतर्गत पात्र इच्छुक युवक-युवतियों का सामूहिक विवाह आयोजित कर हितग्राहियों को लाभान्वित किया जाता है।





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मुख्यमंत्री कन्या विवाह सहायता योजना (Mukhyamantri Kanya Marriage Scheme) का उद्देश्य परिवारों को कन्या विवाह के संदर्भ में होने वाली आर्थिक कठिनाईयों का निवारण, विवाह के अवसर पर होने वाले फिजूलखर्ची को रोकना है। इसके तहत बलरामपुर के पचावल गांव में 57 जोड़ों का विवाह सम्पन्न कराया गया। सरगुजा विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष और रामानुजगंज विधायक बृहस्पत सिंह विवाह समारोह में शामिल होकर इस पावन बेला के साक्षी बने और नवदम्पतियों को आशिर्वाद दिया। इस दौरान विधायक सिंह ने अभिभावक की भूमिका में नव वर-वधु को उपहार सामग्री प्रदान की। साथ ही उनके साथ बैठकर भोजन भी किया।





मुख्यमंत्री कन्या विवाह सहायता योजना





बता दें कि मुख्यमंत्री कन्या विवाह सहायता योजना के अंतर्गत नव दम्पत्तियों को 14000 रुपए की उपहार सामग्री, वर-वधु के लिए 5000 रुपये की श्रृंगार सामग्री, वधु को बैंक ड्राफ्ट के रूप में 1000 रुपए और सामूहिक विवाह आयोजन की तैयारी के लिए 5000 रुपए प्रति कन्या प्रदान जाता है।





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मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह कार्यक्रम अंतर्गत 57 जोड़ों के विवाह आयोजन में विधायक बृहस्पत सिंह ने वर-वधु को आशिर्वाद प्रदान किया। साथ ही आगामी दाम्पत्य जीवन के लिए शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना का उद्देश्य सादगीपूर्ण विवाहों को बढ़ावा देना, सामूहिक विवाहों के आयोजन के माध्यम से आत्मसम्मान में वृद्धि और उनकी सामाजिक स्थिति में सुधार, बाल-विवाह या विवाहों में दहेज के लेन-देन की रोकथाम करना है।





शादी के पवित्र बंधन में बंधे जोड़े





विधायक सिंह ने कहा आप सभी विवाह के पवित्र बंधन में बंध कर दाम्पत्य जीवन में प्रवेश कर रहे हैं इसलिए एक-दूसरे का सम्मान करते हुए परिवार के साथ गरिमापूर्ण जीवन व्यतीत करें। उन्होंने कहा कि विभाग द्वारा विवाह सामारोह का आयोजन सभी दम्पतियों की आस्था तथा स्थानीय वैवाहिक परम्पराओं को ध्यान में रखते हुए किया गया है, जो सराहनीय है। इस दौरान विधायक बृहस्पत सिंह ने विवाह के कुछ महत्वपूर्ण रिवाजों के बारे में चर्चा करते हुए कहा कि रीति-रिवाजों और परम्पराओं का सम्मान करें तथा रूढ़ि और कुरीतियों को दूर करने में अपनी भूमिका निभाएं।





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इस अवसर जनपद पंचायत अध्यक्ष विनय पैंकरा, उपाध्यक्ष भानु प्रकाष दीक्षित, अनुविभागीय अधिकारी राजस्व अजय किशोर लकड़ा, जिला महिला एवं बाल विकास अधिकारी जे. आर. प्रधान, सहित विकासखंड स्तरीय अधिकारी-कर्मचारी और आम नागरिक उपस्थित थे।





मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजनांतर्गत 15 फरवरी तक पंजीयन





मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजनांतर्गत गरियाबंद जिले में विवाह कार्यक्रम विकासखंड स्तर पर 27 फरवरी 2021 को प्रस्तावित है। इस विवाह कार्यकम में शामिल होने के लिए इच्छुक जोड़े संबंधित एकीकृत बाल विकास परियोजना कार्यालय फिगेश्वर,छुरा,गरियाबंद ,मैनपुर और देवभोग में 15 फरवरी 2021 तक पंजीयन करा सकते है।





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आवेदन और योजना ((Mukhyamantri Kanya Marriage Scheme) के संबंध में अन्य आवश्यक जानकारी एकीकृत बाल विकास परियोजना कार्यालय से कार्यालयीन समय में प्राप्त किया जा सकता है। योजना की संक्षिप्त जानकारी योजना का उद्देश्य है कि निर्धन परिवारों को कन्या के विवाह के संदर्भ में होने वाली आर्थिक कठिनाईयों का निवारण, विवाह के अवसर पर होने वाली फिजूल खर्ची को रोकना और सादगीपूर्ण विवाहों को बढ़ावा देना,सामूहिक विवाहों के आयोजन के माध्यम से निर्धनों के मनोबल,आत्मसम्मान में वृद्धि और उनकी सामाजिक स्थिति में सुधार, सामूहिक विवाहों को प्रोत्साहन और विवाहों में दहेज के लेन-देन की रोकथाम करना है।





योजनांतर्गत पात्रता के लिए ये है जरुरी





  • कन्या मुख्यमंत्री खाद्यान्न योजनांतर्गत राशन कार्ड धारित परिवार होनी चाहिए।
  • एक परिवार की अधिकतम दो कन्या लाभांवित की जा सकेगी।
  • कन्या की आयु 18 साल से ज्यादा और वर की आयु 21 साल से ज्यादा होनी चाहिए।
  • कन्या प्रथम विवाह के लिए सहायता की पात्र होगी।
  • सामूहिक विवाह में सम्मलित होने वाली कन्या को ही सहायता की पात्रता होगी।
  • कन्या और उसके परिवार को छत्तीसगढ़ राज्य का निवासी होना चाहिए।
  • साक्षर कन्याओं को सहायता प्रदान करने में प्राथमिकता दी जाएगी।
  • कन्या को मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना और अनुसूचित जाति या जनजाति विकास विभाग द्वारा संचालित सामूहिक विवाह योजनाओं में से किसी एक योजना के तहत लाभ पाने की पात्रता होगी।

सामाजिक कुरीतियों को रोकने में सामूहिक विवाह की है महत्वपूर्ण भूमिका : मंत्री टेकाम

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अनुसूचित जाति, जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग मंत्री प्रेमसाय सिंह टेकाम (Premasai Singh Tekam News) गुरुवार को बलरामपुर-रामानुजगंज के पेंडारी में आयोजित मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह समारोह में शामिल हुए। इस दौरान उन्होंने कहा कि सामाजिक कुरीतियों रोकने में सामूहिक विवाह महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है। बता दें कि कार्यक्रम में महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा 85 जोड़ों का विवाह संपन्न कराया गया।





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मंत्री टेकाम (Minister Premasai Singh Tekam) ने मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह कार्यक्रम में नवविवाहित 85 जोड़ों को आशीर्वाद देते हुए उनके उज्जवल भविष्य की कामना की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कन्या विवाह सहायता योजना का उद्देश्य परिवारों को कन्या के विवाह के संदर्भ में होने वाली आर्थिक कठिनाइयों का निवारण, विवाह के अवसर पर होने वाले फिजूलखर्ची को रोकना है। साथ ही सादगीपूर्ण विवाहों को बढ़ावा, सामूहिक विवाहों के आयोजन के माध्यम से आत्मसम्मान में वृद्धि और उनकी सामाजिक स्थिति में सुधार, बाल-विवाह और विवाहों में दहेज के लेन-देन की रोकथाम करना है।









मंत्री ने कहा (Premasai Singh Tekam News) कि मुख्यमंत्री खाद्यान्न योजना अंतर्गत राशनकार्ड धारी परिवार की 18 साल से ज्यादा आयु की अधिकतम दो कन्याओं को मुख्यमंत्री कन्या विवाह (mass marriage) योजना का लाभ दिया जाता है। उन्होंने मुख्यमंत्री कन्या विवाह सहायता योजना के अंतर्गत नव दंपतियों को 14 हजार रुपए की उपहार सामग्री, वर-वधु के लिए 5 हजार रुपये की श्रृंगार सामग्री, वधु को बैंक ड्राफ्ट के रूप में एक हजार रुपए और सामूहिक विवाह आयोजन की तैयारी के लिए 5 हजार रुपए प्रति कन्या प्रदान किया।





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मुख्यमंत्री विवाह योजनांतर्गत विधवा, अनाथ, निराश्रित, कन्याओं को शामिल किया गया है। इस अवसर नवदंपतियों के परिजन सहित महिला बाल विकास विभाग, विकासखंड स्तरीय अधिकारी-कर्मचारी और स्थानीय नागरिक भी उपस्थित रहे।









बता दें कि प्रशासन द्वारा जिले के अन्य विकासखंडों में आगे भी सामूहिक विवाह का आयोजन कर विवाह के इच्छुक 18 साल पूरी कर चुके युवक-युवतियों को लाभान्वित किया जाएगा।


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