Jharkhand Elections 2024 : झारखंड विधानसभा चुनाव के पहले चरण के लिए आज 43 विधानसभा सीटों पर वोटिंग सुबह 7 बजे से शुरू हो गयी है. पहले चरण में जिन 43 सीटों पर वोट डाले जाने हैं. झारखंड विधानसभा चुनाव के पहले चरण में 950 बूथों पर वोटिंग का समय सुबह 7 बजे से शाम 4 बजे बजे तक का ही है. पहले चरण में कुल मतदाता 1 करोड़ 37 लाख मतदाता अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे, जिसमें पुरुष मतदाताओं की संख्या 68 लाख 65 हज़ार है, वहीं महिला वोटरों की संख्या 68 लाख 20 हज़ार है. पहले चरण के वोटिंग के लिए झारखंड में खुल 15,344 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिसमें 12,716 बूथ ग्रामीण हैं और 2,628 बूथ शहरी इलाकों में हैं.
झारखंड में इस बार एनडीए और ‘इंडिया’ ब्लॉक के बीच कांटे की टक्कर है’. वर्ष 2019 के चुनाव में इनमें से 25 सीटों पर झामुमो-कांग्रेस-राजद के गठबंधन ने जीत हासिल की थी, जबकि भाजपा के हिस्से मात्र 13 सीटें आई थीं. दो सीटों पर निर्दलीय, एक पर एनसीपी और एक पर जेवीएम ने जीत दर्ज की थी. इस बार एनडीए ने जहां अपना स्कोर सुधारने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगाया है. वहीं इंडिया ब्लॉक भी अपनी पुरानी स्थिति को बरकरार रखते हुए कुछ सीटें जोड़ने की कोशिशों में जुटा है.
झारखंड के कुल 2.60 करोड़ मतदाताओं में से 1.37 करोड़ मतदाता पहले चरण में मतदान के लिए पात्र हैं. मुख्य निर्वाचन अधिकारी के. रवि कुमार ने बताया कि पहले चरण की 43 सीट पर कुल 683 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं, जिनमें 609 पुरुष, 73 महिलाएं और एक ट्रांसजेंडर शामिल हैं. कुमार ने बताया कि मतदान की सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं. पहले चरण में 13 नवंबर को सुबह सात बजे से शाम पांच बजे तक मतदान होगा. हालांकि, 950 बूथ पर मतदान का समय शाम चार बजे समाप्त हो जाएगा, लेकिन उस समय कतार में खड़े लोग मतदान कर सकेंगे. कुमार ने बताया कि 1,152 मतदान केंद्रों पर मतदान प्रक्रिया की पूरी जिम्मेदारी महिलाओं के हाथों में होगी. उन्होंने बताया कि 24 बूथ पर दिव्यांग लोगों को तैनात किया जाएगा.
इस चरण में पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन और झारखंड की मौजूदा सरकार के छह मंत्रियों की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है. सीएम की कुर्सी से हटाए जाने के एक महीने बाद ही भाजपा में शामिल हुए चंपई सोरेन कोल्हान प्रमंडल की अपनी परंपरागत सीट सरायकेला से चुनाव लड़ रहे हैं, जहां से वह अब तक छह बार विधायक चुने गए हैं. वर्ष 1991 से लेकर 2019 तक हुए सात चुनावों में उन्हें सिर्फ एक बार वर्ष 2000 में पराजय का सामना करना पड़ा था. यहां उन्हें झारखंड मुक्ति मोर्चा के गणेश महली सीधी टक्कर दे रहे हैं. महली पिछले दो चुनावों में यहां भाजपा के प्रत्याशी थे. इस बार के मुकाबले में अंतर सिर्फ इतना है कि दोनों की पार्टियां बदल गई हैं. भाजपा ने झारखंड चुनाव में जिन प्रमुख चेहरों को फ्रंट पर रखा है, उनमें चंपई सोरेन भी एक हैं.